सूरत। गुजरात की सरकारी यूनिवर्सिटी में पहली बार कुलपति के लिए इंटरव्यू और प्रेजेंटेशन हो रहा है। सूरत की वीर नर्मद दक्षिण गुजरात यूनिवर्सिटी में कुलपति के लिए आवेदन करने वाले सभी 34 उम्मीदवारों को 3 जुलाई को इंटरव्यू और प्रेजेंटेशन के लिए बुलाया गया है। नर्मद यूनिवर्सिटी में नए कुलपति की नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू की गई है। सर्च कमेटी ने दावेदारों से आवेदन मंगाने के बाद इंटरव्यू और प्रेजेंटेशन के लिए बुलाया है। बुधवार को सर्किट हाउस में सभी दावेदारों को बुलाया गया है, उन्हें प्रेजेंटेशन के लिए 10 मिनट का समय दिया जाएगा।
उधर, दावेदारी करने वालों का कहना है कि सर्च कमेटी के चेयरमैन मनमानी कर रहे हैं। सरकारी यूनिवर्सिटी का कुलपति बनने के लिए इस तरह कभी भी दावेदारों को नहीं बुलाया गया। सर्च कमेटी को उम्मीदवारों के बायोडेटा और शैक्षणिक योग्यता की जांच करने के बाद उसमें से तीन नामों को चुनकर सरकार के पास भेजना हाेता है।
दावेदारों को इंटरव्यू या प्रेजेंटेशन के लिए बुलाने का कोई प्रावधान नहीं है। सर्च कमेटी के आदेश पर सभी उम्मीदवारों को इंटरव्यू देने के लिए अपने खर्च पर आना होगा। 10 साल के अनुभवी सीनियर प्रोफेसरों को कर्मचारियों की तरह इंटरव्यू देना पड़े, यह कितना दुखद है। सर्च कमेटी के चेयरमैन के खिलाफ शिक्षा विभाग में भी शिकायत की गई है। कमेटी के इस निर्णय से कुलपति की दावेदारी करने वालों में भारी आक्रोश है।
देश के सभी विश्वविद्यालयों में किसी एक उम्मीदवार का नाम चांसलर के रूप में चुनकर सरकार के पास भेजा जाता है। गुजरात में नई यूनिवर्सिटी एक्ट लागू होने के बाद भी जिन सरकारी विश्वविद्यालयों में चांसलर की नियुक्ति की गई है, वहां भी इस तरह से इंटरव्यू या प्रेजेंटेशन नहीं किया गया है।