रियाद। सऊदी अरब मिशन-2030 की ओर बढ़ रहा है। रियाद ने अपनी अर्थ व्यवस्था में तेल और गैस की निर्भरता कम करने के लिए अन्य क्षेत्रों पर ध्यान केन्द्रित किया है। सऊदी अरब पिछले तीन सालों से पर्यटन पर काम कर रहा है। तेल के विकल्प के रूप में पर्यटन को अर्थ व्यवस्था में शामिल करने का निर्णय लिया है। इसके लिए उसकी पहली पसंद भारतीय हैं। सऊदी अरब से 2030 तक कम से कम 75 लाख प्रवासी भारतीयों को अपने देश में आकर्षित करने का टारगेट रखा है। भारतीयों को आकर्षित करने के लिए फ्री वीजा समेत अनेक योजनाएं शुरू की है।
सऊदी अरब टूरिजम अथॉरिटी के अध्यक्ष अलहसन अल्दाबाग ने मीडिया रिपोर्ट में बताया कि हम सऊदी अरब को पर्यटन में आने ले जाने के लिए भारतीयों पर विशेष ध्यान दे रहे हैं। हमारा लक्ष्य है कि 2030 तक 75 लाख से अधिक भारतीय यहां आएं। बता दें, सऊदी अरब में तेल के कुएं तेजी से खत्म हो रहे हैं, उसे अपनी अर्थव्यवस्था के लिए दूसरे विकल्प तलाशने होंगे। सऊदी अरब विदेशियों के लिए अपने देश के कानून में छूट देने के लिए 96 घंटे के लिए फ्री वीजा योजना भी शुरू करने जा रहा है।
अलहसन अल्दाबाग ने भारत और सऊदी अरब के बीच स्थायी संबंधों के बारे में कहा कि भारत और सऊदी अरब के बीच आपसी सद्भावना लगातार बढ़ी है। यह केवल पर्यटन तक ही सीमित नहीं रहेगा बल्कि आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक आदान-प्रदान तक बढ़ेगा। हम इस वर्ष भारत में अपने समृद्ध संबंधों को और मजबूत करने के लिए तत्पर हैं।
सऊदी अरब 96 घंटे का मुफ्त वीजा देगा, 2030 तक 75 लाख भारतीयों को आकर्षित करने का लक्ष्य
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