नई दिल्ली। संसद में बजट सत्र के पहले चरण का आज आखिरी दिन है। वक्फ (संशोधित) विधेयक पर विचार कर रही संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) की रिपोर्ट आज पेश की गई। रिपोर्ट पेश करते ही विपक्षी सांसदों ने हंगामा शुरू कर दिया। हंगामे की वजह से राज्यसभा की कार्यवाही 2 बजे तक स्थगित कर दी गई। कांग्रेस सहित विपक्षी दलों ने जेपीसी की रिपोर्ट में विपक्षी सदस्यों की आपत्तियों को शामिल नहीं करने का आरोप लगाते हुए इसे अलोकतांत्रिक करार दिया और हंगाम के साथ राज्यसभा से वॉक आउट कर दिया। उधर, सरकार ने विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए उस पर सदन को गुहराह करने का आरोप लगाया।
जेपीसी रिपोर्ट पर बोलते हुए कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि रिपोर्ट में कई सदस्यों की असहमति है। हमारे विचारों को दबाना सही नहीं है। यह लोकतंत्र विरोधी है, असहमति रिपोर्ट को हटाने के बाद पेश की गई किसी भी रिपोर्ट की मैं निंदा करता हूं। हम ऐसी फर्जी रिपोर्ट को कभी स्वीकार नहीं करेंगे। अगर रिपोर्ट में असहमति के विचार नहीं हैं, तो उसे वापस भेजा जाना चाहिए और फिर से पेश किया जाना चाहिए।
जेपी नड्ढा ने कहा कि विपक्ष तुष्टीकरण की राजनीति कर रहा है। विपक्ष जेपीसी की रिपोर्ट पर चर्चा नहीं करना चाहता है।
जेपीसी रिपोर्ट पेश किए जाने के बाद हंगामे के बीच सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा कि वह राष्ट्रपति का संदेश सदन में पेश करना चाहते हैं। उन्होंने हंगामा कर रहे सदस्यों से अपने स्थानों पर लौट जाने और सदन में व्यवस्था बनाने की अपील की। हालांकि, इसके बावजूद हंगामा जारी रहा।