अहमदाबाद। गृह राज्यमंत्री हर्ष संघवी ने कहा कि गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने पाटीदार आरक्षण आंदोलन के दौरान पाटीदार युवकों पर दर्ज 9 मामलों को वापस लेने का फैसला किया है। पाटीदार आरक्षण आंदोलन के दौरान कई घटनाएं हुई थी, जिसमें पाटीदार युवक शामिल थे। पाटीदार आंदोलन के दौरान दर्ज जिन मामलों की जांच और आरोप पत्र पूरे हो चुके हैं, उसमें से 9 केसों को वापस लेने का फैसला किया गया है।
मीडिया से बात करते हुए मंत्री ऋषिकेश पटेल ने कहा कि समय-समय पर मामले वापस लिए गए हैं। अब केवल 4 मामले ही बचे हैं। प्रत्येक मामले को न्यायिक प्रक्रिया के तहत वापस ले लिया गया है। इसमें कितनी धाराएं लगी हैं? कितने मामले वापस लिए जा सकते हैं, इसकी समीक्षा करने के बाद आगे का निर्णय लिया जाएगा। इस प्रक्रिया में समय लगा है। लेकिन, वापसी जैसे मामलों को उचित और न्यायिक तरीके से वापस ले लिया गया है। पाटीदार आंदोलन के दौरान जो भी भगदड़ या घटना घटी, उसका कोई विशेष उद्देश्य नहीं था। यह घटना भावनावश घटित हुई। जब पूरे घटनाक्रम की समीक्षा की गई तो पता चला कि कुछ ऐसे लोगों के नाम भी सामने आए हैं जो इसमें शामिल नहीं थे। इसलिए यह सुनिश्चित करने के लिए कार्रवाई की गई है कि निर्दोष को सजा न मिले। भारतीय दंड संहिता की धारा 360 के तहत मामला वापस ले लिया गया है।