अहमदाबाद। सरखेज भारती आश्रम का विवाद बढ़ता ही जा रहा है। हरिहरानंद बापू ने रातोंरात आश्रम पर कब्जा कर लिया था। आश्रम से कई आपत्तिजनक वस्तुएं मिली हैं। ऋषि भारती बापू और विश्वेश्वरी भारती ने आज पत्रकार परिषद आयोजित करके खुद पर लगे आरोपों का खंडन किया। विश्वेश्वरी भारती ने रोते-राेते हुए कहा कि कमरे से मिले कपड़े हमारे ही हैं। मुझे कोई संतान नहीं है, मैं एक अनाथ बच्ची का पालन-पोषण करती हूं।
विश्वेश्वरी भारती ने कहा कि हरिहरानंद बापू ने मुझे शिक्षा-दीक्षा दी है। मुझे यहां बापू ने ही बिठाया है। मैं धर्म का काम कर रही हूं, जिसे पूरा समाज देख रहा है। मेरा धर्म किसी की टीका-टिप्पणी करना नहीं है। मेरे खिलाफ जिसे जो बोलना है, वह बोले। विश्वेश्वरी भारती ने कहा कि कोर्ट में केस चल रहा है, मेरा वकील जैसा कहेगा, मैं वैसा ही करूंगी।
बता दें, सरखेज में स्थित भारती आश्रम के प्रबंधन को लेकर विवाद चल रहा है। जगद्गुरू महामंडलेश्वर हरिहरानंद बापू ने आश्रम पर कब्जा कर लिया है। उधर, आश्रम का प्रबंधन संभाल रहे ऋषि भारती बापू ने आश्रम छोड़ दिया है। यह पूरा विवाद आश्रम के संस्थापक भारती बापू के निधन के बाद शुरू हुआ। भारती बापू ने चार आश्रमों की स्थापना की है, जिसमें से तीन आश्रमों का संचालन हरिहरानंद बापू करते हैं। अहमदाबाद के सरखेज आश्रम का संचालन ऋषि भारती कर रहे थे। इस आश्रम की अनुमानित कीमत 50 करोड़ से ज्यादा है।