लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने लव जिहाद पर सख्त कदम उठाने का फैसला किया है। अब लव जिहाद के मामले में उम्रकैद की सजा दी जाएगी। योगी सरकार ने 29 जुलाई को सदन में बिल पेश किया। सदन में पेश किए गए बिल में लव जिहाद से जुड़े अपराधों की सजा दोगुनी कर दी गई है। लव जेहाद के साथ नये अपराध भी शामिल किए गए हैं। अवैध धर्म परिवर्तन के लिए फंडिंग को कानूनी अपराध के दायरे में लाने की योजना है। गौरतलब है कि लव जिहाद को लेकर योगी सरकार ने 2020 में पहला कानून बनाया था। अब इस कानून को और सख्त बनाने के लिए सदन में बिल पेश किया जा चुका है। इसके कल 30 जुलाई को सदन में पारित होने की उम्मीद है।
इससे पहले यूपी सरकार ने विधान सभा में विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध विधेयक 2021 पास कराया था। जिसमें 1 से 10 साल तक की सजा का प्रावधान था। इस विधेयक के तहत केवल शादी के लिए धर्म परिवर्तन और झूठ बोलकर या धोखा देकर धर्म परिवर्तन को अपराध माना गया था। इसके अलावा कुछ मामलों में स्वैच्छिक धर्म परिवर्तन के लिए मजिस्ट्रेट को दो महीने पहले सूचना देनी आवश्यक है। विधेयक के अनुसार जबरन या धोखे से धर्म परिवर्तन कराने पर 1 से 5 साल की कैद और 15,000 जुर्माने का प्रावधान था। अगर किसी दलित लड़की के साथ ऐसा होता है तो 25000 रुपए जुर्माने के साथ 3 से 10 साल की सजा का प्रावधान था।
अब नए कानून के अनुसार नाबालिक, दिव्यांग अथवा मानसिक रूप से दुर्बल व्यक्ति, महिला, एससी-एसटी का धर्म परिवर्तन कराने पर आजीवन कारावास और एक लाख रुपए जुर्माने से की सजा होगी। सामूहिक धर्म परिवर्तन पर भी आजीवन कारावास और एक लाख रुपए जुर्माने की सजा होगी। विदेशी अथवा गैरकानूनी संस्थाओं से फंडिंग हासिल करने पर 14 वर्ष तक की सजा और 10 लाख रुपए जुर्माने की सजा होगी। यदि कोई धर्म परिवर्तन कराने के आशय से किसी व्यक्ति के जीवन या संपत्ति को भय में डालता है, हमला अथवा बल प्रयोग करता है, शादी करने का वादा करता है, प्रलोभन देकर किसी नाबालिक, महिला या व्यक्ति की तस्करी करता है, तो उसके 20 वर्ष से कम सजा नहीं होगी। इसे आजीवन कारावास तक (मृत्यु होने तक) बढ़ाया जा सकेगा। इसके अलावा पीड़ित के इलाज और पुनर्वास के लिए भी जुर्माना देना होगा।