पंचमहाल। जिले के प्रसिद्ध तीर्थस्थल पावागढ़ में हजारों साल पुरानी जैन मूर्तियां तोड़ने से जैन समाज के लोग भड़क गए। पर्वत पर शक्तिपीठ महाकाली मंदिर तक जाने वाली सीढ़ियों के दोनों आेर हजारों साल पुरानी जैन तीर्थंकरों की मूर्तियां हैं। विकास के बहाने इन मूर्तियों को तोड़कर कचरे में फेंक दिया गया। रविवार को जैन समाज के लोग भारी संख्या में पावागढ़ थाने में पहुंच गए और तोड़फोड़ करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।
पावागढ़ तीर्थ विकास समिति ने बताया कि पहाड़ पर महाकाली मंदिर तक जाने के लिए हजारों साल पुरानी सीढ़ियां बनी हुई हैं। इस सीढ़ियों के दोनों ओर गुफा में नेमिनाथ समेत 22 तीर्थंकरों की हजारों साल पुरानी 7 मूर्तियां हैं। जैन समाज के लोग रोजाना यहां पूजा-अर्चना करने के लिए आते हैं। 20 दिन पहले पुरानी सीढियों को तोड़ने का काम शुरू किया गया था। जैन समाज ने कलेक्टर और एएसआई को ज्ञापन देकर तीर्थंकरों की मर्तियां न तोड़ने की मांग की थी। इसके बावजूद इन मूर्तियांे को तोड़ दिया गया। जैन समाज का कहना है कि पावागढ़ पहाड़ पर महाकाली मंदिर का विकास हो रहा है, पर यहां स्थापित हजारों साल पुरानी जैन तीर्थंकरों की मूर्तियां तोड़ दी गई। मूर्ति खंड़ित करने वालों के खिलाफ कडी कार्रवाई होनी चाहिए।