अहमदाबाद। पालनपुर कोर्ट ने पूर्व आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट को 20 साल की कैद और 2 लाख जुर्माने की सजा सुनाई है। बनासकांठा जिले के तत्कालीन एसपी और पूर्व आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट के खिलाफ 1996 में पालनपुर के एक होटल में ड्रग्स रखकर राजस्थान के एक वकील को फंसाने की साजिश रचने की शिकायत दर्ज कराई गई थी। पालनपुर की कोर्ट में पिछले पांच साल से केस चल रहा था। कोर्ट ने संजीव भट्ट को फर्जी एनडीपीएस (नार्कोटिक्स ड्रग्स एंड साइकोट्रोपिक) केस में दोषी ठहराया है।
बनासकांठा जिले के एसपी संजीव भट्ट के खिलाफ राजस्थान के पाली के वकील सुमेर सिंह राजपुरोहित ने शिकायत दर्ज कराई थी। संजीव भट्ट को 2015 में ड्यूटी से हटा दिया गया था और 2018 में गिरफ्तार किया गया था।
पूर्व आईपीएस संजीव भट्ट को दोषी ठहराए जाने के बाद उनकी पत्नी श्वेता भट्ट ने कहा कि इस केस में उनके पति की कोई भूमिका नहीं है। उन्हें गलत तरीके से फंसाया गया है।
संजीव भट्ट 1988 बैच के गुजरात कैटर के आईपीएस अधिकारी थे। उन्होंने 2002 के गुजरात दंगों में तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी की भूमिका पर आरोप लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दायर किया था। हालांकि विशेष जांच दल ने उनके आरोपों को खारिज कर दिया था। संजीव भट्ट को 2015 में सस्पेंड कर दिया गया था। संजीव भट्ट ने मेमनगर के पास स्थित अपने बंगले में अवैध निर्माण कराया था, इसे लेकर खूब विवाद हुआ था।