नई दिल्ली। असम में हिमंता सरकार ने मुस्लिम मैरिज एंड डिवोर्स एक्ट 1930 को खत्म कर दिया गया है। इसे समान नागरिक संहिता(UCC) की ओर पहला कदम माना जा रहा है। शुक्रवार को कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। उत्तराखंड के बाद यूसीसी लागू करने वाला असम दूसरा राज्य बनने जा रहा है। हालांकि सरकार का तर्क कुछ और ही है। सरकार का कहना है कि बाल विवाह को रोकने के लिए यह कदम उठाया गया है। कैबिनेट की बैठक के बाद राज्य सरकार के एक मंत्री ने बताया कि अब मुस्लिम विवाह और डिवोर्स से जुड़े मामले स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत सुलझाए जाएंगे। मंत्री ने बताया कि मुस्लिम मैरिज और डिवोर्स एक्ट के तहत काम कर रहे 94 रजिस्ट्रार हटा दिए गए हैं। राज्य सरकार के इस फैसले को यूसीसी लागू होने के पहले कदम के रूप में देखा जा रहा है।